यह पेंच बाघ अभ्यारण्य की मादा बाघ को मई 2008 में पहली बार अनिरुद्ध मजुमदार ने बच्चों के साथ पकड़ा जिसे कॉलरवाली कहा जाता है। यह अनुभवहीन माँ अपने नवजात शावकों की कठोर मानसून की बारिश से रक्षा करने में असमर्थ थी और उसके नवजात शावक तीन महीने के अन्दर ही निमोनिया से मर गए। उसके बाद के लगातार तीन शावकों ने बेहतर प्रदर्शन किया, साथ ही इसके दो बच्चों के बच्चों के साथ इन्होने अपनी स्वतंत्र दुनिया स्थापित की। कॉलरवाली के तीन शावकों के बाद का चौथा बच्चा अभी कॉलरवाली के साथ है।
उसकी अद्भुत यात्राओं के बारे में यहाँ पढ़:http://bit.ly/Collarwali
Source: Courtesy Sanctuary Asia Magazine